राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना प्रमुख सरकारी योजना है। national livestock mission योजना के तहत पशुपालन करने पर 50 लाख रूपये का अनुदान सरकार द्वारा प्रदान किया जाता है। National livestock mission apply online एवं आफलाईन दोनों प्रकार से किया जा सकता है। national livestock mission loan पर 50% का अनुदान सरकार द्वारा दो बराबर किश्तों में प्रदान किया जाता है।
राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना सरकार की अति महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक है। सरकार इस योजना के माध्यम से पशुपालन का कार्य करने वाले किसानों एवं संस्थाओं को अधिकतम 50 लाख रूपये का ऋण अनुदान दे कर उन्हें प्रोत्साहित करती है। इस प्रकार की सहायता से स्वयं का रोजगार करने की प्रेरणा को बल मिलता है साथ ही पशुधन क्षेत्र का संगठनात्मक विकास होता है।
कल्याणकारी योजना से किसानों एवं पशुपालकों की कार्यक्षमता में बृद्धि करके उन्हें अत्यधिक लाभान्वित करने का महानतम प्रयास किया जाता है‚ जिससे किसानों की आय में बढोत्तरी दर्ज की जाती है। इन्हीं सब बातों को ध्यान में सरकार द्वारा राष्ट्रीय पशुधन मिशन की शुरूआत की गयी थी। केन्द्र सरकार की सरकार की मंशा के अनुसार पशुपालन और डेयरी विभाग ने मिलकर वर्ष 2014–15 में किसानों की आय दुगनी करने हेतु राष्ट्रीय पशुधन मिशन को लांच किया था।
ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले किसानों⁄युवकों का प्रमुख कार्य खेती–किसानी ही होती है। इसके साथ ग्रामवासी छोटे–मोटे पैमाने पर पशुपालन का कार्य भी करते रहते हैं। पशुपालन का कार्य उनके लिए साईड इनकम की तरह उनकी मदद करता है। सरकार अपने सरकारी लोकप्रिय कार्यक्रमों को समय–समय पर लाकर उनकी मदद करने का प्रयास करती रहती है।
योजना का नाम | राष्ट्रीय पशुधन मिशन National Livestock Mission (NLM) |
योजना शुरू करने का वर्ष | 2014-15 |
योजना की श्रेणी | सरकारी योजना |
लाभार्थियों की अनुमानित संख्या | 3.5 लाख होगी |
सरकारी सब्सिडी | 50 लाख अधिकतम (लागत का 50 प्रतिशत) |
योजना लागू करने वाली एजेंसी | पशुपालन तथा डेयरी विभाग |
योजना का मकसद | पशुपालन को उद्योग के रूप में विकसित करना |
योजना में आवेदन करें | क्लिक करें |
योजना का आधिकारिक बेबसाईट⁄पोर्टल | क्लिक करें |
आवेदन पत्र का प्रारूप | डाउनलोड करें |
आवश्यक दस्तावेजों की लिस्ट | डाउनलोड करें |
राष्ट्रीय पशुधन मिशन ने भेड़–बकरी‚ मुर्गी‚ सूअर‚ नर भैंस एवं बछड़ा पालन के साथ ही पशुओं के चारे एवं भोजन की सुव्यवस्थित विकास की सफल कहानी लिखकर एक मिशाल कायम की है। जिससे गांवों में ही रोजगार के साधन उपलब्ध कराने में बहुत बड़ी सफलता मिली है। समय–समय पर योजना में संधोधन करके प्रभावी कदम उठाये जा रहे हैं। पशुपालन के प्रमुख पालनों में भेड़‚ बकरी‚ मुर्गी‚ सूअर‚ मछली एवं नर भैसों एवं बछड़ों का पालन करना प्रमुख है।
राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना की पहल कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा किया गया है। पशुपालन और चारा क्षेत्र में आधारभूत विकास करना योजना का प्रमुख लक्ष्य है। योजना के सफल क्रियान्यवन के बाद अंडा‚ मछली‚ मांस‚ दूध‚ ऊन आदि की उत्पादन बढ़ गया है‚ जिससे देश–प्रदेश के घरेलू मांग को पूरा करने में मदद मिलने के साथ ही इसके निर्यात में साल दर साल वृद्धि दर्ज की जा रही है।
पशु खाद्य प्रसंस्करण यूनिट स्थापित करने में लोगों की रूचि जाग्रत हो रही है। जिससे पशुओं के चारे की समस्या का समाधान भी हो रहा है। तथा क्रियान्यवन के बाद चारे एवं चारे की बीज की कमी की समस्या समाप्त होने का अनुमान है। जिससे पशुपालकों की आय में वृद्धि हो रही है। योजना में जोखिम को कम करने के लिए पशुधन बीमा की मदद भी ली जा रही है। योजना के सफल क्रियान्यवन के बाद चारे एवं चारे की बीज की कमी की समस्या समाप्त होने का अनुमान लगाया जा रहा है।
राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना की पहल कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा किया गया है। कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा पशुपालन का कार्य कर रहे लोगों की मदद करने हेतु राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना के साथ सामने आया है।
योजना का उद्देश्य पशुपालन उद्योग का विकास करना है। योजना के सफल क्रियान्वन के पश्चात राेजगार के अवसर प्राप्त होगें। पशु उत्पादकता के क्षेत्र में बढोत्तरी दर्ज होगी। मांस‚ दूध एवं अंडों की उत्पादकता को बढ़ाकर खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के साथ ही अन्य देशों में पशुधन निर्यात करने की मंशा है।
ग्रामीण क्षेत्रों में मदर यूनिट की स्थापना एवं हैचरी यूनिट स्थापित करने में लगने वाले कुल लागत का 50 प्रतिशत सब्सिडी (अनुदान) के रूप में प्रदान किया जायेगा। ध्यान देने वाली बात यह है कि प्रत्येक यूनिट की स्थापना हेतु 25 लाख तक की अधिकतम छूट प्राप्त होगी। यूनिट की स्थापना में लगने वाली बाकी राशि की व्यवस्था उद्यमी⁄संस्था को स्वयं या फिर किसी अन्य वित्तीय संस्थान से वित्तपोषण प्राप्त कर करनी होगी।
भेड़ एवं बकरी पालन के मामले में लगायी गयी पूंजी का 50 प्रतिशत सब्सिडी सरकार द्वारा प्रदान किया जायेगा। कुल पूंजी पर प्राप्त होने वाली अधिकतम 50 लाख की राशि को 25 लाख की कुल दो किश्तो में प्रदान की जायेगी। इतने ही अनुपात में लगने वाली पूंजी की राशि को पशुपालक स्वयं करेंगे अथवा किसी वित्तीय संस्था से वित्तपोषित कराना होगा।
आवश्यकता पढ़ने पर ब्याज दर पर 4 प्रतिशत की छूट भी प्रदान की जायेगी। योजना के तहत 500 की संख्या पर 25 नर भेड़–बकरी के साथ प्रजनन कार्यशाला स्थापित कर सकते है। इसके अलावा मीट–मांस‚ दूध‚ ऊन आदि अच्छी गुणवत्ता वाली उत्पादन कार्यशाला स्थापित की जा सकती है। भेड़ एवं बकरी के नस्लों का चयन संबन्धित विभाग⁄राज्य सरकार के गाईडलाईन के अनुसार करना होगा। योजना में लगभग 10 हजार करोड़ रूपये का अनुदान देकर 55 हजार करोड़ के लगभग रूपये की पूंजी निवेश अर्जित किया जायेगा।
नोट– उपरोक्त सभी प्रकार के अनुदान दो बराबर के किश्तों में प्रदान किया जायेगा। पहला किश्त योनजा के शुरूआत करने पर तथा दूसरी किश्त योजना पूरी होने के बाद प्रदान की जाती है। शेष 50 प्रतिशत राशि स्वयं आवेदक⁄संस्था को करनी होगी या फिर किसी वित्तीय संस्थान से मदद लेकर पूरी करनी होगी।
यदि आप राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना के तहत पशुपालन कार्य करना चाहते तो आपके पास कुछ आवश्यक दस्तावेज होने चाहिए। जिनकी लिस्ट नीचे दी गयी है।
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बरोजगार युवक National Livestock Mission (NLM) के तहत सरकारी सहायता प्राप्त कर अपना खुद का व्यापार अपनी पूरी जिम्मेदारी के साथ शुरू कर सकते हैं। अपनी जमीन पर खुद का व्यवसाय बड़े पैमाने पर शुरू करने का बेहतरीन अवसर इस योजना के माध्यम से मिल सकता है।
ग्रामीण बैंक‚ वाणिज्यिक बैंक‚ सहकारी बैंक‚ ग्रामीण विकास बैंक तथा नाबर्ड से वित्तपोषित संस्थाएं
राष्ट्रीय पशुधन मिशन को अंग्रेजी में National Livestock Mission (NLM) के नाम से जाना जाता है। जिसका प्रमुख उद्देश्य सामान्य पशुपालन को उद्योग के रूप में विकसित करना है। इसके अलवा भी योजना के कई अन्य महत्वपूर्ण उद्देश्य हैं–
छोटे–छोटे पशु पालकों को राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना (NLM) के तहत तकनीक एवं ऋण में अनुदान प्रदान करके प्रोत्साहित करने का भरसक प्रयास सरकार द्वारा किया जा रहा है। जैसे–
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राष्ट्रीय पशुधन मिशन ऑनलाइन आवेदन करें या पशुपालन हेतु आवेदन करने के लिए अपने जनपद के पशुपालन विभाग में सम्पर्क कर आवश्यक जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। इसके साथ ही यदि आप चाहे तो राष्ट्रीय पशुधन मिशन योजना में आनलाईन आवेदन के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए विभाग की आधिकारिक बेबसाईट पर सम्पर्क करें अथवा दिये गये लिंक के बटन पर क्लिक करके आवेदन की प्रक्रिया पूर्ण करें। पशुपालन हेतु आवेदन की प्रक्रिया बहुत ही आसान होती है।
एन.एल.एम द्वारा पशुधन क्षेत्र के विकास के लिए कई प्रकार के कार्यक्रम संचालित किये गये हैं। जिसमें पशुधन और कुक्टुक नस्ल विकास कार्यक्रम प्रमुख हैं। पशुपालन को उद्योग के रूप में विकसित करने एवं पशुओं के नस्ल सुधार हेतु मंत्रालय द्वारा राज्यों को विशेष ध्यान देने की जरूरत पर बल दिया गया है।
किसानों एवं पशुपालकों की आय दोगुनी करने के इरादे से केन्द्र सरकार ने राष्ट्रीय पशुधन मिशन को लांच किया है। योजना की लाभ अधिक से अधिक किसानों तक पहुंचाने तथा व्यवसाय शुरू करने हेतु ऋण का 50 प्रतिशत अनुदान देने के साथ ही सस्ते दर पर कर्ज भी उपलब्ध कराया जा रहा है। इन्हीं सब बिन्दुओ की आफिशियल जानकारी उपलब्ध कराने के लिए पशुपालन तथा डेयरी विभाग ने राष्ट्रीय पशुधन मिशन के नाम से बेबसाईट लांच किया है।
भेड़ बकरी‚ सूअर‚ कुक्कुट‚ चारा एवं चारे का संबर्धित बीज में नवाचार एवं अनुसंधान तथा उनके विकास पर जोर देने की बात बात कहीं गयी है। इसके लिए विश्वविद्यालयों एवं इससे जुडें संगठनों को आर्थिक मदद देकर नवाचार करने हेतु प्रोत्साहित करने का प्रयास किया जायेगा। इसके लिए अनेक प्रकार के सेमीनार‚ सम्मेलनों‚ जागरूकता तथा प्रदर्शनियों जैसी गतिविधियों की मदद की जायेगी। उपरोक्त सभी कार्यों हेतु सहायता देकर उपमिशनों को पूरा किया जायेगा।
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